माननीय स्वास्थ्य मंत्री, हरयाणा सरकार अनिल विज जी ने स्टार बॉक्सर बिजेन्दर सिंह के वर्ल्ड ओपन बॉक्सिंग में चले जाने पर इसको राष्ट्रभक्ति से जोड़ दिया| कमाल है इतिहास में जब-जब असली राष्ट्रभक्ति दिखाने के सोमनाथ की लूट जैसे मौके आने पे मूक-दर्शक बने देखते रह जाने वाले अब देश के लिए राष्ट्रभक्ति की परिभाषा निर्धारित करने लगे हैं!
मंत्री जी आप क्या चाहते हैं कि बिजेन्दर सिंह बॉक्सर अंतराष्ट्रीय ओपन बॉक्सिंग में करियर ना बनाये, अथवा तीस-चालीस हजार रूपये की नौकरी करते हुए आपके आगे-पीछे सलूट ठोंकता हुआ रिटायर हो जाए?
और अगर अंतराष्ट्रीय स्तर पर किसी खिलाडी के निकल आने से वो देशद्रोही कहलाता है तो यह बड़े-बड़े भारतीय मूल के डॉक्टर-इंजीनियर-साइंटिस्ट्स ने तो फिर राष्ट्रभक्ति तोड़ने का ग्लोबल-रिकॉर्ड ही बना दिया होगा अब तक? क्या रोक सकते हैं उनकी भारी-भारी रकमों के साथ विदेशी कम्पनियों की विदेशो में नौकरी करने की रिक्रूटमेंट लेने को? उनके डॉक्टर-इंजीनियर-साइंटिस्ट्स बनने पे लाखों-लाख खर्च करे भारत और नाम कमाएं विदेशी?
और हाँ, क्या आपने मोदी जी से पूछ के यह बयान दिया है? क्योंकि मोदी जी तो भारत से बाहर विदेशी कंपनियों के लिए विदेशों में बैठ कार्य करने वालों को बड़ा देशभक्त ही नहीं कहा है अपितु जिस भी देश में जाते हैं वहाँ स्वदेशी कन्फेरेन्सेस भी करवाते हैं| अपने भारतीय मूल के भाईयों से मिल-बैठ के बातें करना बड़े गर्व की बात समझते हैं|
आपको बिजेन्दर के कदम पर कहना तो यह चाहिए था कि बड़ी अच्छी बात है हमारा लड़का वर्ल्ड ओपन बॉक्सिंग के गुर सीखेगा तो हरयाणा सरकार उसको स्पांसर करेगी ताकि कल को 'भारतीय बॉक्सिंग का मक्का' कहे जाने वाले हरयाणा का भी अपना वर्ल्ड ओपन बॉक्सिंग क्लब बनाया जाए; और कहाँ आपने इतना निरुत्साहित करने वाला ब्यान दिया? या तो आप गैर-जिम्मेदार हैं या आपकी बिजेन्दर से कोई व्यक्तिगत खुंदक है या फिर उसके पिछोके से चिड़ है, कुछ तो है जो आपने ऐसा बचकाना बयान दिया|
और फिर बिजेन्दर कोई चोरी-छुपे नहीं जा रहा; बाकायदा ऑफिशियली डिक्लेअर करके जा रहा है| अत: आप उसके कदम का स्वागत नहीं कर सकते तो कृपया अपने शब्दों पर तो नियंत्रण रख सकते हैं?
हालाँकि मैं खुद भी भेज रहा हूँ, फिर भी मेरी इस बात को (पोस्ट को) मंत्री साहब तक पहुँचाने वाले का शुक्रिया|
जय यौद्धेय! - फूल मलिक
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