Thursday, 19 June 2025

वर्णवादियों के माईबाप वक्त व् राज के हिसाब से कैसे बदलते हैं!

1 - मुग़लकाल में: भविष्य पुराण है या कौनसा है वो जिसमें अकबर को विष्णु का अवतार लिख दिया था वर्णवादियों ने!

2 - अंग्रेज काल में: बालगंगाधर तिलक ने इनका ओरिजिन आर्यनों से जोड़ते हुए, इनके वर्ग को ब्रिटिश DNA वाला बताया करते थे!

3 - संघिकाल में: हाल फ़िलहाल में वर्णवादि खुद को इजराइली खून से जोड़ते दिख रहे हैं, कई बार ऐसी खबरें इनकी तरफ से आपने आजकल पढ़ी भी होंगी!


अब जब इजराइल-ईरान युद्ध छिड़ा हुआ है और अगर इसमें दूसरा पक्ष भारी पड़ गया तो ......... खालिस्थान आप खुद भर लीजिए!


इन तीन किस्सों के अलावा फंडियों का ऐसा ही किसी से चिपकने का किस्सा जाटों के मामले में लिखा था, जो कि सत्यार्थ प्रकाश में है, जिसमें लिखा गया है कि 'सारी दुनिया जाट जी जैसी पाखंडमुक्त हो जाए, तो पंडे-पुजारी भूखे मर जाएं' - हालाँकि जाट होते कौन हैं किसी को भूखा मारने वाले; परन्तु फिर भी ऐसा कह के चिपके थे जाट से| 


और मौका मिलते ही वही अकबर वाले भी व् जाटों वाले भी कैसे नंबर वन दुश्मन बनाए हुए हैं पिछले 12 साल उठा कर देख लीजिए! और इसी थ्योरी में इनकी कमजोरी छुपी हुई है, जो पकड़ ले वह इनके पार है!


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