Friday, 15 January 2016

जाट-जट्ट-जुट्ट की साँझी संस्कृति!

जाट-जट्ट-जुट्ट की साँझी संस्कृति सिद्ध करती है कि जाट एक ऐसी नश्ल है जो अपने अंदर हर धर्म को समाहित किये हुए है। जाट वो शब्द नहीं जो किसी धर्म में समाहित हो जावे| जाट वो हस्ती है जिसमें सब धर्म किसी संगम की भांति समाहित होते हैं।

जय यौद्धेय! - फूल मलिक










































 

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