Thursday, 9 May 2024

हरयाणा में तीन MLA द्वारा कांग्रेस को समर्थन दिए जाने के बिंदु को low-profile रखा जाना बेहद जरूरी है!

इस मसले पर JJP व् INLD अगर कांग्रेस से चिपकने की कोशिश करती है तो इनसे सवाल-जवाब के आदान-प्रदान से बचना होगा; क्योंकि:


यह एक ऐसी स्क्रिप्ट की भी तैयारी हो सकती है जिसको मोदी हरयाणा में आते ही ऐसे उछालेगा कि बहुत सारा वोट फिर से एक झटके में उसके पाले जा बैठेगा| क्या कहेगा, कि देखो मैंने तुम्हें एक ओबीसी मुख्यमंत्री दिया, परन्तु तथाकथित पारवारिक पार्टियों, उनमें भी एक जाति वाले कैसे उस बेचारे शरीफ ओबीसी की सरकार गिराने को उतारू हैं| अभी से इनकी धक्काशाही देख लो, क्या तुम चाहोगे कि इनको सत्ता मिले वापिस? और लोग कहेंगे ना| 


ना कोई मुद्दा होगा, ना कोई मसला और एक झटके में सब बनी-बनाई हवा साहमार ले जाएगा; इंडिया गठबंधन की हरयाणा में| क्योंकि इन्होनें दिनरात लगा के विभिन्न समाजों को इतना ह्यपरसेंसिटिव कर रखा है, कि ऐसा करने की कोशिश होवे ही होवे| वरना और क्या मसला ले के आएगा मोदी जब हरयाणा आएगा? 


बीजेपी-आरएसएस ने दिन-रात कान-फुंकाई कर-कर के लोग इतने ह्यपरसेंसिटिव कर रखे हैं कि मोदी ने यह बात कही और अधिकतर इनके पाले| इसलिए इंडिया गठबंधन वालों को हरयाणा में मोदी की एंट्री से पहले ही इस बात की काट निकाल के फैलानी शुरू कर लेनी चाहिए कि सरकार की लड़ाईयों का किसी की जाति से क्या लेना, सैनी जी की जगह खुद खटटर सीएम होता तो भी हमारा ऐसा मौका लगता तो हम यही करते, आदि-आदि| 


फूल मलिक

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